बॉलीवुड ऐक्टर रणदीप हुड्डा और लिन लैशराम की शादी दो साल पहले हुई थी, और यह रिश्ता जाति, भाषा और क्षेत्रीय सीमाओं को पार करने की एक खूबसूरत मिसाल बन गया। हरियाणा के जाट परिवार से ताल्लुक रखने वाले रणदीप ने मणिपुरी रीति-रिवाजों को अपनाते हुए इंफाल में पारंपरिक अंदाज़ में शादी की। यह समारोह लिन के होम स्टेट मणिपुर में आयोजित हुआ था। हाल ही में एक इंटरव्यू में रणदीप ने खुलासा किया कि शादी उनके प्लान का हिस्सा नहीं थी, लेकिन लिन से मिलने के बाद उनकी सोच पूरी तरह बदल गई।
शुभांकर मिश्रा के पॉडकास्ट में बातचीत के दौरान रणदीप ने बताया, “स्कूल के समय मैं अक्सर अकेलापन महसूस करता था, और उसी अनुभव के चलते मैंने कभी शादी का इरादा नहीं किया था। लेकिन जब लिन मेरी जिंदगी में आई, तो सबकुछ बदल गया। अब मैं बेहद खुश हूं कि हम एक-दूसरे से मिले।”
उन्होंने यह भी कहा कि सच्चा प्यार जाति, धर्म या राष्ट्रीयता नहीं देखता। अपनी शादी में आई चुनौतियों पर बात करते हुए रणदीप ने बताया, “मेरे माता-पिता चाहते थे कि मेरी शादी अपनी जाति में हो, जैसा कि आमतौर पर हर परिवार में होता है। मैं अपने परिवार में पहला हूं जिसने इंटर-कास्ट मैरिज की है। शुरुआत में थोड़ी परेशानी जरूर हुई, लेकिन धीरे-धीरे सबने इसे स्वीकार कर लिया।”
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रणदीप ने यह भी बताया कि मणिपुर में शादी करना आसान नहीं था, लेकिन उन्होंने फैसला किया कि शादी दुल्हन के शहर में ही होनी चाहिए, क्योंकि वे अपनी पत्नी और उसके कल्चर का सम्मान करना चाहते थे। उन्होंने एक दिलचस्प किस्सा शेयर करते हुए कहा, “हम जहां-जहां गए, सेना की सुरक्षा साथ थी। मेरी बारात में सिर्फ 10 लोग थे, लेकिन सिक्योरिटी स्टाफ उनसे ज्यादा था। हम नहीं चाहते थे कि दुल्हन के परिवार पर कोई बोझ पड़े या माहौल की वजह से कोई परेशानी हो।”